STORYMIRROR

रात के दो पहर ही होते है - तनहा शायर हु तुमसे बिछड़ के - तनहा शायर हु क्यों नींद नहीं आती- तनहा शायर हु जलकर मिल जाएगी खाक में मैं - तनहा शायर हु ये तार जुड़े है तारों से ऊँचे चाँद सितारों से -तनहा शायर हु तनहा शायर हू

Hindi रात के दो पहर ही होते है -तनहा शायर हु Poems